• जितनी बड़ी वजह उतनी बड़ी जीत

    जितनी बड़ी वजह उतनी बड़ी जीत: Heart touching story

    • 2020-08-25 02:24:27
    • Puplic by : Admin
    • Written by : Unknown
    आप सफल होना चाहते हो ? क्यो होना चाहते हो?     कोई वजह होगी या फिर कोई जरूरत होगी, लेकिन जितनी बड़ी वजह होगी, जीत भी उतनी ही बड़ी होगी।   हमारी समस्या क्या है ?  यही की,किसी काम को शुरू तो कर देते है, मगर कुछ दिनों बाद ही उसको छोड़ देते है।   Motivation खत्म हो जाता है।   आखिर ऐसा क्यों होता है? कभी आपने सोचा है, इसके बारे मे सीधा सा उत्तर है,दोस्तों क्योंकि हमारे पास उस काम को करने की कोई बड़ी वजह नही होती    चलिए इसको एक उदाहरण से समझते है।   आपको दौड़ने में बहुत दिक्कत होती है,आपका वजन ज्यादा है या आप भाग नही सकते।   कोई आपसे कहे, कि 500 meter भाग कर दिखाओ   आप मना कर दोगे, क्योंकि कोई वजह ही नही है।   लेकिन वही दूसरी तरफ शहर के किसी इलाके मे आपके पीछे खूंखार कुत्ते पड़ जाए तो आप वहाँ भी यही बहाना बनाओगे ? नही ना। वजह साफ है,क्योंकि हमें पता है, यहाँ सवाल हमारी जान का है।   इससे कीमती कुछ नही है।   जहा हमने 500 मीटर दौड़ने के लिए मना कर दिया था यहाँ हम  2 km दौड़ जाएंगे बिना किसी बहाने के क्यूंकि वजह बड़ी है।   "जितनी बड़ी वजह उतनी बड़ी जीत"   एक बात बताऊँ, सफलता के लिए एक ही चीज चाहिये,   दांव पर क्या लगाओगे? जब तक दांव पर कुछ नही लगेगा। आपको आगे बढ़ने का मोटिवेशन कहाँ से मिलेगा जब पीछे जाने के या रुक जाने के  सारे रास्ते बंद हो जाते है, तो हमारे सामने एक ही option होता है, आगे बढ़ने का अगर हम रुके तो कुछ भी हो सकता है।  motivational stories for students to work hard   दशरथ मांझी का नाम सुना होगा आपने, इनपर बॉलीवुड ने movie भी बनाई है।   आपने नही देखी हो तो जरूर देखिए ,नवाजुद्दीन सिद्दीकी ने इसमें दशरथ मांझी की भूमिका अदा की है।  inspirational short stories about life   22 साल लगा दिए साहब लेकिन एक छेनी और हथोड़े से विशाल पहाड़ को तोड़ डाला चीर डाला क्यों?? क्योंकि दुनिया पागलो ने बदली है और  वजह बड़ी थी जब उनकी पत्नी गर्भवती थी तो यातायात का कोई साधन नही था। उस पहाड़ी को cross करते हुए आगे बढ़ना था, लेकिन बीच में ही वो हार मान गयी और मांझी को छोड़कर चल बसी।   तभी मांझी ने ठान लिया कि मुझे यहाँ रास्ता निकालना है और 22 साल लगे लेकिन सफल हुए। मजबूत इच्छाशक्ति के  साथ सफल हुआ जा सकता हैं    उनको राष्ट्रीय सम्मान के साथ नवाजा गया हमे काफी कुछ सीखने को मिलता है,इनकी जीवनी से अगर आप भी सफल होना चाहते हो या आगे बढ़ना चाहते हो, तो लक्ष्य के साथ साथ वजह बड़ी रखना वही हमे आगे बढ़ने का हौसला देगी   

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